मुझे रास आती है
पाइथागोरस की पहली प्रमेय
कि समकोण त्रिभुज में
कर्ण पर बना वर्ग
शेष दो भुजाओं पर
बने वर्गों के योग के
बराबर होता है I
पर ज्यादा पसंद है मुझेइंसानी दिल की संरचना
आँखों के वर्णक स्तर
और
हड्डियों के गठबंधन,
मुझे आज भी कंठस्थ है
रुधिर के परिसंचरण मार्ग
और तंत्रिकातंत्र के जाल I
भले से लगते है
निएंदरेथल मानवो से
हमारे सम्बन्ध,
तुम्हे याद होगा
एक बार
प्लास्टोसीन युग की
एक कन्दरा में
उस कपि ने कहा था.....
विकास का जीवनविज्ञान
अंत को है I
सच ही था शायद
तभी तो अब
मुझे रिश्तो में गणित सताती है......
- सिद्धांत
(मार्च २६, २०१२ २:३५ पी एम)
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